नलजल योजना में घोटाले का आरोप प्रधान और सचिव की बल्ले बल्ले
मामला यह है कि ग्राम पंचायत करसौर जो विकास खण्ड बिजुआ जिला लखीमपुर खीरी में ग्रामीणों ने अपनी बात शाशन और प्रशासन तक पहुचाने के लिए अब तक टीवी की टीम से सम्पर्क कर बताया की इस पंचायत में नल-जल योजना की जांच कराने की माग की है। ग्रामीणों का आरोप है कि सचिव व प्रधान ने नल-जल योजना की राशि में घोटाला किया है । लोगों का कहना है कि नल-जल योजना के कार्य के नाम पर प्रधान और सचिव के माध्यम से बड़े पैमाने पर घोटाला किया जा रहा है ।
आपको बता दे कि प्रत्येक ग्रामीण परिवार के घर तक नल से जल पहुंचाने की प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की परिकल्पना को साकार करने के लिए केंद्र सरकार ने ‘जल जीवन मिशन’ के अंतर्गत, उत्तर प्रदेश को मौजूदा वित्त वर्ष 2021-22 मेँ 10,870.50 करोड़ रुपए आवंटित किए हैं। वर्ष 2019-20 में उत्तर प्रदेश को अनुदान की यह राशि 1,206 करोड़ रुपए थी, जो 2020-21 में बढ़ा कर 2,571 करोड़ रुपए कर दी गई थी। इस प्रकार, पिछले वर्ष की तुलना में उत्तर प्रदेश को इस वर्ष ‘जल जीवन मिशन’ के अंतर्गत मिला केन्द्रीय अनुदान चार गुना ज़्यादा है। केंद्रीय जल शक्ति मंत्री श्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने राज्य के मुख्य मंत्री के साथ हुई अपनी पिछली बैठक में आश्वासन दिया था कि उत्तर प्रदेश को ‘जल जीवन मिशन’ के अंतर्गत हर घर तक नल से जल पहुंचाने के लिए धन की कोई कमी नहीं होने दी जाएगी। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने भी श्री शेखावत को भरोसा दिलाया है कि उनकी सरकार प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की घोषणा के ही अनुरूप राज्य के हर ग्रामीण घर में 2024 के अंत से पहले-पहले नल जल कनेक्शन प्रदान कर देगी। लेकिन ग्राम पंचायत करसौर में इसके विपरीत देखने को मिला..
संवाददाता सोनू कुमार की रिपोर्ट